भारतीय शेयर बाजार में आईपीओ की धूम मची हुई है। इस वर्ष पिछले 6 महीनों में कई कंपनियां अपने आईपीओ लेकर आई हैं। शेयर बाजार में जबरदस्त तेजी भी देखने को मिल रही है। बाजार में इस उछाल का फायदा कंपनियों को मिला है। कंपनियों ने बाजार से हजारों करोड़ रुपये जुटाए हैं।
हाइलाइट्स
- लास्ट 6 महीनें में 37 कंपनियों के आईपीओ आए।
- कंपनियों ने मिलकर 32 हजार करोड़ रुपये जुटाए।
शेयर बाजार में एक के बाद एक कई कंपनियां अपने आईपीओ लेकर आ रही हैं। बाजार आईपीओ से भरा है। स्टॉक मार्केट में तेजी का दौर सिर्फ लिस्टेड कंपनियों तक की सीमित नहीं है, बल्कि नई कंपनियां भी जमकर जोर दिखा रही हैं। अभी आने वाले दिनों में तीन आईपीओ बंद हो जाएंगे। यह पिछले 17 वर्षों में पहली बार ऐसा है, जब किसी साल की पहली छमाही में इतने सारे आईपीओ आए हैं। यह छमाही जबरदस्त शानदार रही है। आंकड़ों के मुताबिक, इस पहली छमाही के दौरान 37 कंपनियों ने मिलकर बाजार से 32 हजार करोड़ रुपये जुटाए हैं।
नहीं आई सुस्ती
गौर करने वाली बात ये है कि आम तौर पर चुनावी सालों में IPO मार्केट में सुस्ती आ जाती है, लेकिन इस साल ऐसा नहीं हुआ है। पिछले कुछ चुनावी सालों के आंकड़ों को देखें तो 2019 की पहली छमाही में सिर्फ 8 कंपनियों ने ही 5,509 करोड़ रुपये जुटाए थे। 2014 में तो सिर्फ एक ही कंपनी आईपीओ लेकर आई थी और 2009 में सिर्फ दो कंपनियों ने मिलकर 302 करोड़ रुपये जुटाए थे। बैंकरों का कहना है कि इस बार चुनावी साल होने के बावजूद नतीजों को लेकर ज्यादा अनिश्चितता नहीं थी। इस बार सरकार बदलने को लेकर कोई उलझन नहीं थी। हांलाकि बाजार में फिर भी थोड़ा बोहत उतार-चढ़ाव जरूर देखने को मिला।
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शानदार रहा ये वर्ष
पहले नंबर पर वर्ष 2022 है, जब एलआईसी के अब तक के सबसे बड़े आईपीओ के दम पर 16 कंपनियों ने मिलकर 40,311 करोड़ रुपये जुटाए थे। अगर एलआईसी के आईपीओ को छोड़ दिया जाए तो फिर कंपनियों की संख्या और जुटाई गई राशि दोनों मामले में यह साल आईपीओ मार्केट के लिए सबसे अच्छा साल माना जा सकता है। पिछले साल की पहली छमाही के मुकाबले इस साल फंड जुटाने की रफ्तार 4 गुना बढ़ गई है। इसकी वजह घरेलू और विदेशी दोनों तरह के निवेशकों से मिल रहा मजबूत सपोर्ट है। वहीं शेयर बाजार का शानदार प्रदर्शन भी नए शेयर जारी करने वाली कंपनियों को बाजार में आने के लिए प्रोत्साहित कर रहा है।
इस साल अबतक घरेलू म्यूचुअल फंड्स (MFs) ने भारतीय शेयरों में 1.85 ट्रिलियन रुपये से ज्यादा का निवेश किया है। अभी भले ही विदेशी निवेशक कुछ समय के लिए बाजार से बाहर निकाल लें, लेकिन वे भारत को लेकर पूरी तरह आश्वस्त हैं। वे अच्छी वैल्यू वाली कंपनियों में निवेश करने से पीछे नहीं हटते हैं। ऐसे में आने वाले समय में बाजार में और तेजी देखने को मिल सकती है।